Thursday, 4 August 2011


मौजूदा  लोकपाल  बिल  हमारे  नेतृत्व  की कमजोरी  एंव  दिशाहीनता  का  परिचायक  है ! जनलोकपाल से जन की भावनाओ को दरकिनार करने का कारण केवल मुटठी भर लोगो को बचाने का प्रयास है ताकि उनको नेता  अपनी ऊगलियों पर नचा सके. ! आज जनता का राजनीति से नही बल्कि भ्रष्ट्तन्त्र के कारण नेताओ पर से विश्वास उठ गया है ! लोकसभा में चर्चा के दौरान सांसद सुमित्रा महाजन ने सही कहा कि आज नेता शब्द गाली बन कर रह गया है ! .दुर्भाग्य से आज राजनीति सेवा का नही कमाई का जरिया बन गया 
   

1 comment:

  1. "जनलोकपाल से जन की भावनाओ को दरकिनार करने का कारण केवल मुटठी भर लोगो को बचाने का प्रयास है"

    यही सत्य है

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